G7 में केवल एक एशियाई देश है—जापान—जो अब दुनिया की टॉप 4 अर्थव्यवस्थाओं में भी नहीं है। बाकी सभी सदस्य यूरोपीय या अमेरिकी देश हैं। दूसरों के लिए इसमें कभी जगह थी ही नहीं। अगर इंदिरा गांधी ने प्रयास किया होता, तो शायद भारत भी सदस्य बन सकता था—लेकिन शायद उन्होंने कोशिश ही नहीं की