स्वाति 🌸 (@swatimishra026) 's Twitter Profile
स्वाति 🌸

@swatimishra026

प्रतियोगी लड़की💯 झुकाव - अध्यात्म,धर्म,राजनीति❤️
PhD researcher 📚
MA - राजनीति शास्त्र📚 (777)

ID: 1268421917524013063

calendar_today04-06-2020 06:00:18

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Dr Anuj Kumar (@dranuj_k) 's Twitter Profile Photo

कैंसर एक ऐसी बीमारी ने जिसने करोड़ो घर तबाह किए हैं । सिर्फ मरीज ही नहीं बल्कि मरीज के परिवारों को । दवाइयों का खर्च वहन करते करते लोग टूट जाते हैं । और कैसे नहीं टूटेंगे अगर 600 रुपये की दवाई पर सरकार ने छूट दे रखी है 12000 रुपये MRP रखने की । जी हाँ । दवाई है Paclitaxel ।

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Life? कई बार कोई मकान इसलिए खड़ा नहीं रहता कि उसके सारे स्तंभ मजबूत थे, बल्कि इसलिए कि एक ही स्तंभ अपनी क्षमता से अधिक बोझ उठा रहा था। हम भूल जाते हैं कि दृढ़ता हमेशा समान रूप से वितरित नहीं होती, कहीं न कहीं कोई एक तत्व चुपचाप, अकेले, पूरे ढांचे का भार संभाल रहा होता है। और जब

Life?

कई बार कोई मकान इसलिए खड़ा नहीं रहता कि उसके सारे स्तंभ मजबूत थे, बल्कि इसलिए कि एक ही स्तंभ अपनी क्षमता से अधिक बोझ उठा रहा था। हम भूल जाते हैं कि दृढ़ता हमेशा समान रूप से वितरित नहीं होती, कहीं न कहीं कोई एक तत्व चुपचाप, अकेले, पूरे ढांचे का भार संभाल रहा होता है। और जब
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जो प्रेम करते है वो रास्ता देते हैं ...जीने का, जीतने का, और.. जाने का भी...!🥲

जो प्रेम करते है वो रास्ता देते हैं ...जीने का, जीतने का, और.. जाने का भी...!🥲
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सवाल? जवाब? दिसंबर की उस सर्द रात में, जब धुंध हवा को भी धकेलने लगी थी, उसने चाय की पहली घूँट के बाद मुझे देखा। उसकी आँखों में वही पुराना सवाल था, थोड़ा काँपता हुआ, थोड़ा बुझा हुआ। मैंने मुस्कुरा कर कहा, “क्यों करते हैं लोग प्यार?यही सोच रहा है न? शायद इसलिए कि किसी को पाने

सवाल? जवाब? 

दिसंबर की उस सर्द रात में, जब धुंध हवा को भी धकेलने लगी थी, उसने चाय की पहली घूँट के बाद मुझे देखा। उसकी आँखों में वही पुराना सवाल था, थोड़ा काँपता हुआ, थोड़ा बुझा हुआ।

मैंने मुस्कुरा कर कहा,
“क्यों करते हैं लोग प्यार?यही सोच रहा है न?  शायद इसलिए कि किसी को पाने
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' प्रेम ' किसी मंज़िल का नाम नहीं , यह तो चलने की रीति है। रास्ता ऊबड़–खाबड़ हो सकता है , कभी धूप , कभी बारिश भी , पर जब कोई हाथ तुमसे छूटे नहीं ; यह भरोसे का सबसे खूबसूरत रूप है। प्रेम वहाँ सांस लेता है जहाँ डर कम होता है , समझ अधिक।। 🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍 .

' प्रेम ' किसी 
मंज़िल का नाम नहीं , यह तो चलने की रीति है।
रास्ता ऊबड़–खाबड़ हो सकता है , कभी धूप , कभी बारिश भी ,
पर जब कोई हाथ तुमसे छूटे नहीं ; यह भरोसे का सबसे खूबसूरत रूप है।
प्रेम वहाँ सांस लेता है जहाँ डर कम होता है , समझ अधिक।। 

🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍
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विडम्बना देखिए... हम प्रथम प्रेम सदैव गलत हाथों में सौंपते है...!🥲 - चंदन ✍️

विडम्बना देखिए... हम प्रथम प्रेम सदैव गलत हाथों में सौंपते है...!🥲

- चंदन  ✍️
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मेरा फिर से तुम तक आना मेरे दु:खों का ' सुख ' की तरफ लौटना है।। 🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍 .

मेरा 
फिर से
तुम तक आना

मेरे दु:खों का 
' सुख ' की तरफ लौटना है।। 

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अगर तलाश करूँ कोई मिल ही जाएगा मगर तुम्हारी तरह कौन मुझ को चाहेगा तुम्हें ज़रूर कोई चाहतों से देखेगा मगर वो आँखें हमारी कहाँ से लाएगा मैं अपनी राह में दीवार बन के बैठा हूँ अगर वो आया तो किस रास्ते से आएगा ~बशीर बद्र

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' प्रेम ' वह धीमी बारिश है जो मन में बिना शोर बरसती है। कोई देख भी ले तो सिर्फ़ भीगा चेहरा दिखता है , पर जो भीतर तक भीगा है वही जानता है कि कितनी गहराई से बादल किसी एक के नाम हुए थे।। 🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍 .

' प्रेम ' वह धीमी बारिश है 
जो मन में बिना शोर बरसती है।
कोई देख भी ले तो सिर्फ़ भीगा चेहरा दिखता है ,
पर जो भीतर तक भीगा है वही जानता है कि
कितनी गहराई से बादल किसी एक के नाम हुए थे।। 

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आप भी एक परफ्यूम के खातिर ' चंदन ' छोड़ कर बैठे हैं...!🥲 - चंदन ✍️

आप भी एक परफ्यूम के खातिर ' चंदन ' छोड़ कर बैठे हैं...!🥲

- चंदन ✍️
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पुरुष रोते हैं? पुरुषों को रोना ही चाहिए , बिल्कुल किसी अबोध शिशु की भाँति फफक फफक कर ताकि स्त्री समझ सके की पीड़ाओं को पुरुष भी उतना ही अनुभव करता है जितना इक स्त्री।। //“तुम, मैं और आख़िरी सिगरेट🤍

चंदन मिश्र (@_chandanmishra_) 's Twitter Profile Photo

किसी को विदा करना छोड़ना नहीं होता, प्रेम करने वाले..विदा करते हैं,छोड़ते नहीं..!🙃

किसी को विदा करना छोड़ना नहीं होता,
प्रेम करने वाले..विदा करते हैं,छोड़ते नहीं..!🙃
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' प्रेम ' को समर्पित कितनी ही कविताएँ जो शायद लिखीं भी न गईं कभी तुम्हारे लिए लेकर आईं मुझे , सदा तुम्हारे करीब।। 🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍 .

' प्रेम ' को समर्पित
कितनी ही कविताएँ
जो शायद लिखीं भी न गईं
कभी तुम्हारे लिए

लेकर आईं
मुझे , सदा तुम्हारे करीब।। 

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Himanshu Ranjan (@himanshusudha95) 's Twitter Profile Photo

स्नेह?? स्नेह मात्र एक भाव नहीं, बल्कि मनुष्य के भीतर रहस्यमयी ढंग से प्रवाहित होने वाला एक मौन प्रकाश है। प्रेम की तीव्रता और मोह की आकुलता से थोड़ा हटकर, स्नेह में एक ऐसी कोमल गरमाहट होती है जहाँ संवेदना, अपनापन और पवित्रता एक-दूसरे में घुल-मिल जाते हैं। मानव जीवन में स्नेह

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' प्रेम ' की एक ख़ास बात है ; वह हमेशा वहीं लौट कर आता है , जहाँ उसे पूरी तरह सुना गया था। कभी शब्दों से , कभी आँसुओं से , कभी बस एक लंबे आलिंगन से। अच्छी तरह सुना जाना भी प्रेम का एक रूप है।। 🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍🌸🤍 .

' प्रेम ' की एक ख़ास बात है ;
वह हमेशा वहीं लौट कर आता है , जहाँ उसे पूरी तरह सुना गया था। कभी शब्दों से , कभी आँसुओं से , कभी बस एक लंबे आलिंगन से।

अच्छी तरह सुना जाना भी प्रेम का एक रूप है।।

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Deepak Ravi (@deepak__ravi) 's Twitter Profile Photo

हो सकता है आज वह थका हुआ हो, आज उसके रंग फीके हों, पर किसी अनजाने मौसम में जब हल्की-सी धूप और थोड़ी-सी सही हवा मिलेगी, तब वह व्यक्ति अपने भीतर छिपी उसी जड़ों की ताकत से एक नई महक के साथ फिर से उगेगा। - Himanshu Sudha Himanshu Ranjan

हो सकता है आज वह थका हुआ हो,
आज उसके रंग फीके हों,
पर किसी अनजाने मौसम में
जब हल्की-सी धूप और थोड़ी-सी सही हवा मिलेगी,
तब वह व्यक्ति
अपने भीतर छिपी उसी जड़ों की ताकत से
एक नई महक के साथ फिर से उगेगा।

- Himanshu Sudha
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हाँ, तुम मुझसे प्रेम करो, जैसे मछलियाँ लहरों से करती हैं जिनमें वह फंसने नहीं आती, जैसे हवाएं मेरे सीने से करती हैं, जिसको वह गहराई तक दबा नहीं पातीं, तुम मुझसे प्रेम करो, जैसे मैं तुमसे करता हूँ। ~शमशेर बहादुर सिंह